नई कविता के जनक कहे जाने वाले हरिवंशराय बच्चन की 118वीं जन्म तिथि पर उदयपुर के सुक्ष्म कला मर्मज्ञ डॉ चंद्रप्रकाश चित्तौड़ा ने 118 पृष्ठ की सूक्ष्म पुस्तिका का निर्माण किया । इस पुस्तिका का विमोचन ख्यातनाम समाज सेवी एवं शहर को फिल्म सिटी देने में अग्रणी भूमिका निभाने वाले श्री मुकेश माधवानी ने अशोका पैलेस में किया । उस अवसर पर माधवानी ने कहा कि श्री चित्तौड़ा की सुक्ष्म कला कृतियों ने उदयपुर का नाम विश्व पटल पर अंकित किया है उन्होंने बच्चन को श्रद्धांजलि अर्पित करते हुए कहा कि अंग्रेजी साहित्य के प्रकांड विद्वान होने के बावजूद नई कविता का उद्भव कर मधुशाला जैसी कालजई रचनाओं की रचना की । उस अवसर पर चित्तौड़ा ने बच्चन के जीवन पर प्रकाश डाला ।