GMCH STORIES

राज्य सरकार की दूसरी वर्षगांठ पर विशेष' '2 साल: नव उत्थान-नई पहचान, बढ़ता राजस्थान- हमारा राजस्थान'

( Read 411 Times)

18 Dec 25
Share |
Print This Page

जैसलमेर :  प्रधानमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी के डिजिटल इंडिया और गुड गवर्नेंस के संकल्प को साकार करते हुए मुख्यमंत्री श्री भजनलाल शर्मा के नेतृत्व में राजस्थान सरकार ने राजस्व सुधार और वृद्धि के क्षेत्र में ऐतिहासिक उपलब्धियां हासिल की हैं। डिजिटलाइजेशन और तकनीक के प्रयोग से जीएसटी, स्टाम्प, पंजीकरण, आबकारी, खनन, ऊर्जा तथा परिवहन जैसे क्षेत्रों में पारदर्शिता आई है। सरकार के नियमों एवं आदेशों की पालना सुनिश्चित हुई है तथा फर्जी बिलिंग और अवैध खनन जैसी गतिविधियों पर रोक लगी है। इससे राजस्व संग्रह दक्षता बढ़ी है तथा प्रदेश की वित्तीय क्षमता में वृद्धि हुई है।

 

राज्य सरकार द्वारा निरंतर प्रयास कर टैक्स और नॉन टैक्स श्रेणियों में संरचनात्मक सुधारों को अमल में लाया गया, डिजिटल मॉनिटरिंग सुनिश्चित की गई तथा डेटा के आधार पर कार्य योजनाएं बनाई गई। इसी का परिणाम है कि वित्तीय वर्ष 2024-25 में राज्य के कुल राजस्व में पिछले वर्ष की तुलना में 12.60 प्रतिशत की वृद्धि दर्ज की गई है।

 

पिछले वर्ष की तुलना में मिला 14 हजार 200 करोड़ रुपये अधिक राजस्व

राज्य सरकार ने टैक्स एवं नॉन-टैक्स दोनों श्रेणियों में व्यापक सुधार करते हुए डिजिटल निगरानी और डेटा एनालिटिक्स का प्रभावी उपयोग किया है। इसके साथ ही फर्जी बिलिंग, अवैध खनन तथा अन्य राजस्व लीकेज गतिविधियों पर सख्त नियंत्रण स्थापित किया गया है। इन प्रयासों से राजस्थान के राजस्व संग्रह में निरंतर और मजबूत वृद्धि संभव हुई है। प्रदेश को पिछले वर्ष की तुलना में 14 हजार 200 करोड़ रुपये से अधिक राजस्व की प्राप्ति हुई है।

 

जीएसटी एवं वाणिज्यिक कर सुधार-डेटा ड्रिवन रिपोर्ट से रूकी कर चोरी

 

विभाग द्वारा रेवेन्यू इंटेलीजेंस आधारित विश्लेषण को सुदृढ़ कर 45 से अधिक डेटा ड्रिवन रिपोर्ट्स तैयार की गई, जिनसे फर्जी बिलिंग की पहचान संभव हुई और इस पर प्रभावी रोक लगी। इसके अतिरिक्त -वे बिल मिलान, रिटर्न प्रोफाइलिंग तथा आधुनिक आईटी टूल्स के माध्यम से हाई रिस्क करदाताओं की निगरानी कर आवश्यक कार्रवाई की गई। आईटी आधारित निगरानी से संदिग्ध एवं फर्जी पंजीकरणों की पहचान कर उन्हें निरस्त करने की कार्रवाई भी की गई, जिससे कर प्रणाली अधिक पारदर्शी और विश्वसनीय बनी है। राज्य सरकार द्वारा आईटीएमएस जैसे नवाचारों के माध्यम से व्यापारियों के लिए फाइलिंग प्रक्रिया को सरल और सहज बनाया गया है। इससे व्यापारियों द्वारा राजस्व नियमों की अनुपालना में उल्लेखनीय वृद्धि हुई है।

-लॉटरी से शराब की दुकानों का आवंटन-सप्लाई चेन की डिजिटल मॉनिटरिंग

पिछले दो वर्षों में आबकारी विभाग द्वारा अवैध शराब निर्माण, परिवहन और बिक्री पर नियंत्रण के लिए इंटेलिजेंस आधारित सघन अभियान चलाए गए हैं। इन कार्रवाईयों के दौरान बड़ी मात्रा में अवैध शराब की जब्ती और अवैध भट्टियां को नष्ट कर तस्कर गिरोहों पर कठोर कार्रवाई की गई, जिससे राजस्व लीकेज


Source :
This Article/News is also avaliable in following categories :
Your Comments ! Share Your Openion

You May Like